उत्तर प्रदेश सरकार युवाओं को स्वरोजगार और निजी कंपनियों में नौकरी दिलाने के अपने मिशन रोजगार अभियान को तेज़ी से आगे बढ़ा रही है। अब तक इस योजना के तहत 5.66 लाख से अधिक युवाओं को रोजगार मिल चुका है। सरकार ITI और पॉलिटेक्निक पास छात्रों को सीधे उद्योग जगत से जोड़ने के लिए निजी कंपनियों से अनुबंध कर रही है।
2800 प्रशिक्षण केंद्र दे रहे आधुनिक स्किल्सराज्य में 2800 से अधिक प्रशिक्षण केंद्रों के माध्यम से युवाओं को आधुनिक और रोजगारोन्मुखी कौशल सिखाया जा रहा है। इससे नोएडा, ग्रेटर नोएडा, गाजियाबाद, लखनऊ, कानपुर और वाराणसी जैसे प्रमुख शहरों में IT, इलेक्ट्रॉनिक्स, ऑटोमोबाइल, मैन्युफैक्चरिंग और कृषि आधारित उद्योगों में युवाओं को अवसर मिल रहे हैं।
रोजगार मेलों में भाग ले रही हैं बड़ी कंपनियां15 अप्रैल को लखनऊ के राजकीय ITI अलीगंज में आयोजित रोजगार मेले में कई बड़ी कंपनियों जैसे:
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कांटिनेंटल ऑटोमोटिव
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एंग्लो इंडिया
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अडानी विंड
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पेटीएम
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एजस फेडरल लाइफ इंश्योरेंस
ने भाग लिया। इसमें 22 अभ्यर्थियों को चयनित किया गया जिन्हें ₹13,000 से ₹21,000 मासिक वेतन और अन्य सुविधाएं दी जाएंगी।
पहले भी सफल आयोजन22 मार्च को आयोजित रोजगार मेले में 73 युवाओं को जॉब मिली थी, वहीं राजकीय पॉलिटेक्निक में आयोजित कार्यक्रम में 95 छात्रों को जॉब ऑफर किया गया।
उत्तर प्रदेश कौशल विकास मिशन के तहत 35 वर्ष तक के युवाओं को मुफ्त प्रशिक्षण भी दिया जा रहा है।
अब तक की उपलब्धियां-
वर्ष 2017-18 से मार्च 2025 तक 14.13 लाख युवाओं को प्रशिक्षित किया गया
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24 औद्योगिक प्रतिष्ठानों और 8 प्लेसमेंट एजेंसियों से अनुबंध
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ITI और पॉलिटेक्निक संस्थानों को अत्याधुनिक सुविधाओं से लैस किया गया
प्रदेश में नवीन औद्योगिक नीति और निवेश प्रोत्साहन कार्यक्रमों के चलते लगातार नई कंपनियां निवेश कर रही हैं। इससे युवाओं को जहां स्थायी रोजगार मिल रहा है, वहीं राज्य का औद्योगिक विकास भी तेज़ी से हो रहा है।
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