हिमाचल प्रदेश सरकार ने राज्य चयन आयोग (HPSSC) की कार्यप्रणाली में महत्वपूर्ण सुधार और बदलाव करने का निर्णय लिया है। कार्मिक विभाग की ओर से राजपत्र में अधिसूचना जारी की गई, जिसमें आयोग के व्यवसाय एवं प्रक्रिया नियम 2024 में संशोधन की जानकारी दी गई है। इस बदलाव का उद्देश्य भर्ती परीक्षाओं को अधिक पारदर्शी और तकनीक आधारित बनाना है।
अधिसूचना के अनुसार, अब राज्य चयन आयोग के तहत आयोजित होने वाली सभी भर्ती परीक्षाएं सीसीटीवी कैमरों की निगरानी में होंगी। इसका मतलब है कि परीक्षा केंद्र पर प्रत्येक गतिविधि रिकॉर्ड की जाएगी, जिससे छात्रों और परीक्षा प्रक्रिया की सुरक्षा सुनिश्चित हो सकेगी।
सरकार ने यह भी स्पष्ट किया है कि परीक्षा में किसी भी प्रकार की गड़बड़ी, कंप्यूटर हैकिंग, मोबाइल या ब्लूटूथ जैसी तकनीकों का प्रयोग पाए जाने पर दोषी उम्मीदवार पर आजीवन परीक्षा देने पर रोक लगाई जाएगी। इससे पहले परीक्षाओं में कई बार धोखाधड़ी की घटनाएं सामने आती रही हैं, जिससे आयोग की विश्वसनीयता पर प्रश्न उठते थे।
कार्मिक विभाग ने कहा कि यह कदम परीक्षा प्रणाली में पारदर्शिता और निष्पक्षता लाने के लिए उठाया गया है। अब उम्मीदवारों की योग्यता और प्रदर्शन ही उनके चयन का आधार होगा। इससे भर्ती प्रक्रिया में भ्रष्टाचार और अनियमितताओं को रोकने में मदद मिलेगी।
विशेषज्ञों का कहना है कि तकनीक आधारित निगरानी और सख्त नियमों से आयोग की प्रक्रिया ज्यादा विश्वसनीय और भरोसेमंद होगी। उन्होंने बताया कि इससे छात्रों का मनोबल भी बढ़ेगा और उन्हें परीक्षा में निष्पक्ष अवसर मिलेगा।
हिमाचल प्रदेश के राज्य चयन आयोग की परीक्षाएं विभिन्न विभागों में अधिकारी, कर्मचारी और तकनीकी पदों के लिए आयोजित होती हैं। अब नए नियमों के लागू होने के बाद, सभी परीक्षा केंद्रों में सीसीटीवी निगरानी, कड़े सुरक्षा उपाय और तकनीकी निगरानी सुनिश्चित की जाएगी।
कार्मिक विभाग के अधिकारियों का कहना है कि इस बदलाव से परीक्षाओं की गुणवत्ता में सुधार, उम्मीदवारों में भरोसा और आयोग की कार्यप्रणाली में पारदर्शिता सुनिश्चित होगी। उन्होंने यह भी कहा कि भविष्य में और अधिक तकनीकी सुधारों की योजना बनाई जा रही है, जिससे भर्ती प्रक्रिया पूरी तरह डिजिटल और भ्रष्टाचार मुक्त हो सके।
इस कदम को छात्रों और अभ्यर्थियों द्वारा व्यापक रूप से सकारात्मक रूप से देखा जा रहा है। उम्मीदवारों का कहना है कि अब परीक्षा में किसी भी प्रकार की अनियमितता और गड़बड़ी के लिए कोई जगह नहीं होगी और सभी प्रतिभागियों को समान अवसर और निष्पक्ष मूल्यांकन मिलेगा।
इस प्रकार, हिमाचल प्रदेश सरकार ने राज्य चयन आयोग की भर्ती परीक्षा प्रणाली में तकनीकी सुधार और सख्त निगरानी लागू करके इसे और अधिक पारदर्शी, निष्पक्ष और आधुनिक बनाने की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम उठाया है। यह कदम राज्य के युवा प्रतिभाओं के लिए रोजगार की प्रक्रिया को सुरक्षित और भरोसेमंद बनाने की दिशा में मील का पत्थर साबित होगा।
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